नई दिल्ली3 घंटे पहले

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पेरिस ओलिंपिक के लिए भारतीय टीम के क्वालिफाई नहीं कर पाने के बाद जेनेक शोपमैन की आलोचना हो रही थी। - Dainik Bhaskar

पेरिस ओलिंपिक के लिए भारतीय टीम के क्वालिफाई नहीं कर पाने के बाद जेनेक शोपमैन की आलोचना हो रही थी।

भारतीय महिला हॉकी टीम की कोच जेनेक शोपमैन ने शुक्रवार को अपनी पोस्ट से रिजाइन दे दिया है। उन्होंने हॉकी इंडिया के प्रेसिडेंट दिलीप तिर्की को इस्तीफा सौंप दिया। उन्हें पेरिस ओलिंपिक के लिए भारतीय टीम के क्वालिफाई नहीं कर पाने के बाद आलोचनाओं का सामना करना पड़ रहा था।

4 दिन पहले नीदरलैंड की कोच शोपमैन ने कहा था कि भारत में महिलाओं का रहना कठिन है। यहां महिला कोच और प्लेयर्स के साथ भेदभाव होता है। उन्होंने कहा कि पिछले दो सालों में मुझे बहुत अकेलापन महसूस हुआ। मैं उस संस्कृति से आती हूं जहां महिलाओं का सम्मान किया जाता है और उन्हें महत्व दिया जाता है। मुझे यहां ऐसा महसूस नहीं होता।

2020 में भारतीय टीम से जुड़ी थी शोपमैन
जेनेक शोपमैन 4 साल पहले 2020 में भारतीय टीम के साथ बतौर एनालिटिकल कोच जुड़ीं थीं। टोक्यो ओलिंपिक्स के बाद उन्हें टीम की हेड कोच बना दिया गया था।

शॉपमैन की कोचिंग में भारतीय महिला हॉकी टीम के प्रदर्शन में काफी सुधार हुआ। उनके हेड कोच बनने के बाद टीम ने कॉमनवेल्थ गेम्स 2022 में ब्रॉन्ज, एशियन गेम्स 2022 में ब्रॉन्ज, एशियन चैंपियंस ट्रॉफी में गोल्ड और मस्कट एशिया कप-2022 में ब्रॉन्ज जीता।

ओलिंपिक क्वालिफाई नहीं कर पाने के बाद विरोध हुआ
शोपमैन को ओलिंपिक क्वालिफायर के बाद विरोध का सामना करना पड़ा। पिछले महीने जनवरी में रांची में आयोजित FIH ओलिंपिक क्वालीफायर्स में भारतीय टीम पेरिस ओलिंपिक का कोटा हासिल नहीं कर सकी।

ऐसे में हेड कोच की आलोचना हो रही थी। उनका कॉन्ट्रैक्ट जून-जुलाई में एक्सपायर होने वाला था, लेकिन उन्होंने समय से पहले रिजाइन दे दिया।

शोपमैन नीदरलैंड की खिलाड़ी रह चुकी है। उन्होंने टीम के साथ ओलिंपिक 2004 में सिल्वर और 2008 में गोल्ड जीता था।

शोपमैन नीदरलैंड की खिलाड़ी रह चुकी है। उन्होंने टीम के साथ ओलिंपिक 2004 में सिल्वर और 2008 में गोल्ड जीता था।

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